घटना दोपहर करीब 2:30 बजे हुई, जब फ्लाइट क्रूज ऊंचाई पर उड़ान भर रही थी। मणि आर, जो पहली बार हवाई यात्रा कर रहे थे, ने कथित तौर पर टॉयलेट की तलाश में कॉकपिट का दरवाजा खोलने की कोशिश की। एयरलाइन के प्रवक्ता ने बताया कि यात्री ने पूछताछ में कहा कि वह लैट्रिन का रास्ता भूल गया था और गलती से कॉकपिट की ओर चला गया। कॉकपिट में पासकोड सिस्टम होने के कारण दरवाजा नहीं खुला, लेकिन इस घटना से यात्रियों में दहशत फैल गई।
फ्लाइट में सवार अन्य यात्रियों ने बताया कि क्रू ने तुरंत यात्री को रोक लिया और उसे वापस सीट पर बिठा दिया। कोई हिंसा या अतिरिक्त खतरा नहीं था, लेकिन सुरक्षा प्रोटोकॉल के तहत पायलट ने वाराणसी एयरपोर्ट को सूचित कर दिया। लैंडिंग के तुरंत बाद सीआईएसएफ की टीम ने मणि आर को हिरासत में ले लिया और उनसे पूछताछ शुरू कर दी। वाराणसी एयरपोर्ट के एसएचओ प्रवीण कुमार सिंह ने पुष्टि की कि यात्री को लैंडिंग पर गिरफ्तार किया गया और अब उन पर उचित धाराओं में केस दर्ज किया जा रहा है।
एयर इंडिया एक्सप्रेस ने एक बयान जारी कर कहा, "हमारी प्राथमिकता हमेशा यात्रियों की सुरक्षा रहती है। क्रू ने प्रशिक्षण के अनुसार स्थिति को संभाला और कोई खतरा नहीं था। हम इस घटना की जांच कर रहे हैं।" यह घटना उन चुनौतियों को उजागर करती है जो पहली बार फ्लायर्स को सामना करनी पड़ती हैं, खासकर एयरक्राफ्ट की संरचना समझने में। विशेषज्ञों का मानना है कि एयरलाइंस को ऐसे यात्रियों के लिए बेहतर जागरूकता कैंपेन चलाने चाहिए।
फिलहाल, मणि आर से पूछताछ जारी है और जांच में कोई आतंकी कनेक्शन न मिलने की उम्मीद है। यह घटना हाल के महीनों में हवाई यात्रा में बढ़ती असुरक्षा की याद दिलाती है, जहां छोटी-मोटी गलतियां भी बड़ा हंगामा पैदा कर सकती हैं।