अयोध्या, 10 अक्टूबर 2025: रामनगरी अयोध्या में गुरुवार की देर शाम एक घरेलू हादसे ने पूरे इलाके को सन्नाटे में डुबो दिया। भदरसा-भारतकुंड नगर पंचायत के पगलाभारी गांव में हनुमान नगर और कलंदर क्षेत्र के रामकुमार गुप्ता उर्फ परसनाथ के मकान में जोरदार धमाका होते ही एक-एक ईंट बिखर गई। धमाके की आवाज इतनी तेज थी कि दूर-दूर तक सुनाई दी, और इलाके में खौफ फैल गया। प्रारंभिक जांच में कुकर या रसोई गैस सिलेंडर फटने की आशंका जताई जा रही है, जिसमें पांच जिंदगियां लील ली गईं – पिता रामकुमार, उनकी तीन मासूम संतानें ईशा, लव और यश, साथ ही एक मजदूर रामसजीवन। यह हादसा न सिर्फ एक परिवार की त्रासदी है, बल्कि पुराने मकानों की सुरक्षा पर सवाल भी खड़े कर रहा है।
धमाके का खौफनाक मंजर: रसोई से शुरू हुई तबाही
गुरुवार रात करीब 7:30 बजे की घटना थी। रामकुमार का मकान, जो आटा चक्की भी चलाता था, सामान्य दिनचर्या में व्यस्त था। अचानक एक जोरदार धमाका हुआ, जिससे मकान की दीवारें ढह गईं। घटनास्थल पर कुकर के साथ फटा हुआ गैस सिलेंडर मिला, और खाना पकाने की गंध फैली हुई थी। ग्रामीणों ने बताया कि धमाके की गूंज से वे दौड़े-दौड़े आए, लेकिन मलबे के नीचे दबे परिवार को बचाना मुश्किल साबित हुआ। पुलिस ने शुरुआत में पटाखों या विस्फोटक की आशंका जताई, लेकिन मैके पर कोई ऐसा सामान नहीं मिला। एसएसपी डॉ. गौरव ग्रोवर ने कहा, "धमाके में पांच मौतें हुई हैं, लेकिन मलबा साफ करने के बाद कोई और घायल या फंसा व्यक्ति नहीं मिला।"
मलबे से निकले शव: मासूमों की चीखें आज भी गूंज रही
हादसे में मरने वालों में रामकुमार गुप्ता (मकान मालिक), उनकी 10 वर्षीय बेटी ईशा, 7 वर्षीय बेटा लव, 5 वर्षीय बेटा यश (जो अस्पताल में दम तोड़ा) और मजदूर रामसजीवन शामिल हैं। ग्रामीणों और पुलिस की टीम ने जेसीबी मशीनों से मलबा हटाया, जो रात 11 बजे तक चला। डॉग स्क्वायड और बॉम्ब स्क्वायड भी तैनात रहे। सभी शव जिला अस्पताल ले जाए गए, जहां चार को डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। यश ने इलाज के दौरान अंतिम सांस ली। डीएम निखिल तीतराम फुंडे ने पुष्टि की, "कुकर या गैस सिलेंडर फटने से धमाका हुआ लगता है। विस्फोटक नहीं मिला।" कोई अन्य घायल न मिलने से राहत की सांस ली गई, लेकिन परिवार का शोक समाप्त होने का नाम नहीं ले रहा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे पर गहरा शोक जताया। उन्होंने कहा, "अयोध्या में हुई दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना में हुई जनहानि अत्यंत हृदयविदारक है। मेरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिवारों के साथ हैं। मैं प्रभु श्री राम से प्रार्थना करता हूं कि वे दिवंगत आत्माओं को शांति प्रदान करें, शोकाकुल परिवारों को यह अपार दुख सहन करने की शक्ति प्रदान करें तथा घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ प्रदान करें।" योगी ने स्थिति पर नजर रखने के निर्देश भी दिए। एसपी सिटी चक्रपाणि त्रिपाठी और सीओ अयोध्या ने बचाव कार्यों का नेतृत्व किया।
यह हादसा अयोध्या जैसे धार्मिक शहर में सुरक्षा मानकों की पोल खोलता है। पुराने मकानों में गैस लीकेज की जांच जरूरी है। ग्रामीण इलाकों में आटा चक्की जैसे कारोबार घरों में चलते हैं, जहां खतरा दोगुना हो जाता है। पुलिस जांच जारी है, लेकिन यह घटना पूरे यूपी को सतर्क कर रही है – छोटी सी लापरवाही बड़ी त्रासदी बन सकती है।